उत्तराखंड का प्रथम समाचार पत्र कौन सा है?
वर्तमान समय में सोशल मीडिया के आने से हम देश विदेश की जानकारी कुछ ही पलों में प्राप्त कर लेते हैं, पर प्राचीन काल में जब सोशल मीडिया या टेलीविजन जैसी टेक्नोलॉजी नहीं हुआ करती थी, उस समय संदेश को एक जगह से दूसरी जगह भेजने के लिए कबूतर का इस्तेमाल किया जाता था।
कबूतर से किस तरह संदेश भेजा जाता था, इसका उदाहरण आपने कई बॉलीवुड फिल्मों में भी देखा होगा, जिसे समय के साथ धीरे-धीरे बदला गया और आगे जाकर संदेश भेजने के लिए समाचार पत्र का निर्माण हुआ, और आज के इस लेख में हम पढ़ेंगे उत्तराखंड मैं प्रकाशित होने वाला सबसे प्राचीन समाचार पत्र कौन सा है।
अगर आप उत्तराखंड के रहने वाले हैं, तो आपको यह जानकारी जरूर रखनी चाहिए कि आपके राज्य में सबसे पहले कौन सा समाचार पत्र जारी किया गया था।
उत्तराखंड का सबसे प्राचीन समाचार पत्र कौन सा है?
उत्तराखंड में प्रकाशित होने वाला सबसे प्राचीन समाचार पत्र “द हिल्स” था, जो कि “जॉन मैकिनन” ने साल 1842 में प्रकाशित किया था, यह उत्तराखंड के साथ-साथ पूरे उत्तरी भारत मैं प्रकाशित होने वाला पहला समाचार पत्र था।
हिल्स समाचार पत्र को अंग्रेजी भाषा में प्रकाशित किया गया था, जिसे गाजियाबाद के अंदर छापा जाता था।
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People also ask: आपके पूछे गए सवाल
Q : भारत का सबसे पुराना समाचार पत्र कौन सा है?
Ans: भारत में सबसे पहले सन 1780 में पहला समाचार पत्र “द् बंगाल गजट” के नाम से प्रकाशित हुआ था, जिसे “जेम्स ऑगस्टस हिक्की” ने प्रकाशित किया था।
Q : उत्तराखंड का पहला उर्दू अखबार कौन सा था?
Ans: उत्तराखंड मैं प्रकाशित होने वाला पहला उर्दू अखबार का नाम “समय विनोद” था।
Q : उत्तरी भारत में प्रकाशित होने वाला सबसे पहला अखबार कौन सा है?
Ans: उत्तरी भारत मैं प्रकाशित होने वाला पहला समाचार पत्र “द हिल्स” था।
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